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भागवत पुराण  »  स्कन्ध 9: मुक्ति  »  अध्याय 6: सौभरि मुनि का पतन  »  श्लोक 21
 
 
श्लोक  9.6.21 
श्रावस्तस्तत्सुतो येन श्रावस्ती निर्ममे पुरी ।
बृहदश्वस्तु श्रावस्तिस्तत: कुवलयाश्वक: ॥ २१ ॥
 
शब्दार्थ
श्रावस्त:—श्रावस्त नामक; तत्-सुत:—युवनाश्व का पुत्र; येन—जिसके द्वारा; श्रावस्ती—श्रावस्ती नामक; निर्ममे—निर्मित कराई गई; पुरी—नगरी; बृहदश्व:—बृहदश्व; तु—किन्तु; श्रावस्ति:—श्रावस्त से उत्पन्न; तत:—उससे; कुवलयाश्वक:—कुवलयाश्व नामधारी ।.
 
अनुवाद
 
 युवनाश्व का पुत्र श्रावस्त था जिसने श्रावस्ती नामक पुरी का निर्माण कराया। श्रावस्त का पुत्र बृहदश्व था और उसका पुत्र कुवलयाश्व था। इस तरह यह वंश बढ़ता रहा।
 
 
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